
सट्टेबाजी ऐप्स केस:हैदराबाद के मियापुर पुलिस स्टेशन में दर्ज हुआ मामला
सट्टेबाजी ऐप्स केस मैं तेलंगाना पुलिस ने कथित तौर पर अवैध सट्टेबाजी ऐप्स को बढ़ावा देने के आरोप में अभिनेता राणा दग्गुबाती, प्रकाश राज, विजय देवरकोंडा और मांचू लक्ष्मी सहित 25 मशहूर हस्तियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है
1.सट्टेबाजी ऐप्स केस मैं कौन कौन अभिनेता शामिल है?
हैदराबाद के मियापुर पुलिस स्टेशन में दर्ज मामले में प्रणीता, निधि अग्रवाल, अनन्या नागल्ला, सिरी हनुमंथु, श्रीमुखी, वर्षिनी सुंदरजन, वसंती कृष्णन, शोबा शेट्टी, अमृता चौधरी, नयनी पावनी, नेहा पठान, पांडु, पदमावती, इमरान खान, विष्णु प्रिया, हर्षा साई, सनी यादव, श्यामला, टेस्टी तेजा और बंडारू शेषयानी सुप्रिता के भी नाम हैं। प्राथमिकी एक व्यवसायी फणींद्र सरमा की शिकायत के बाद दर्ज की गई थी।
2.सट्टेबाजी ऐप्स केस मैं एफआईआर क्या कहती है?
एफआईआर के अनुसार, आरोपियों ने सोशल मीडिया विज्ञापनों के माध्यम से सट्टेबाजी प्लेटफार्मों को बढ़ावा दिया।इसमें कहा गया है कि ये प्लेटफॉर्म बड़ी मात्रा में धनराशि का संचालन करते हैं और इनके कारण कई व्यक्तियों, विशेषकर मध्यम वर्ग और निम्न मध्यम वर्ग के परिवारों को वित्तीय नुकसान उठाना पड़ा है।एफआईआर में कहा गया है, “इन अवैध प्लेटफार्मों में हजारों लाखों रुपये लगे हुए हैं और यह कई परिवारों को संकट में डाल रहा है, खासकर मध्यम वर्ग और निम्न मध्यम वर्ग के परिवारों को।”
3.शिकायतकर्ता ने क्या आरोप लगाया ?
शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया कि इन ऐप्स के माध्यम से लोगों को पैसा गंवाना पड़ा है और मशहूर हस्तियों तथा प्रभावशाली लोगों ने इनका प्रचार करने के लिए भुगतान स्वीकार किया है।उन्होंने बताया कि उन्होंने ऐसे ही एक प्लेटफॉर्म पर लगभग पैसे जमा कर दिए थे, लेकिन अपने परिवार की चेतावनी के बाद उन्होंने ऐसा न करने का फैसला किया। एफआईआर में दावा किया गया है कि ये प्लेटफॉर्म आर्थिक रूप से कमजोर व्यक्तियों को पैसा निवेश करने के लिए प्रोत्साहित करते हैं, जिससे उन्हें वित्तीय मुश्किलों का सामना करना पड़ता है।यह मामला धोखाधड़ी से संबंधित भारतीय न्याय संहिता की धाराओं के साथ-साथ सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम और राज्य कानूनों के प्रावधानों के तहत दर्ज किया गया है
4.सट्टेबाजी ऐप्स पर केंद्र सरकार की कार्रवाई?
यह कार्रवाई सरकार द्वारा सट्टेबाजी ऐप्स को बढ़ावा देने से रोकने के प्रयासों का हिस्सा है, विशेष रूप से इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) जैसे प्रमुख आयोजनों के दौरान।मई 2024 में उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय ने अवैध सट्टेबाजी और जुए के प्लेटफॉर्म के लिए अप्रत्यक्ष और छिपे हुए विज्ञापनों के खिलाफ कार्रवाई करने का आह्वान किया, जिसमें कहा गया कि वे उपभोक्ता संरक्षण नियमों का उल्लंघन करते हैं। इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (Meity) को उल्लंघनों को ट्रैक करने और इन ऐप्स पर प्रतिबंध लगाने सहित दंड लगाने के लिए कहा गया था।
राष्ट्रीय रक्षा विश्वविद्यालय के सुरक्षा और वैज्ञानिक तकनीकी अनुसंधान संघ (SASTRA) द्वारा जुलाई 2024 में प्रकाशित एक रिपोर्ट में अवैध ऑनलाइन सट्टेबाजी के खतरों पर प्रकाश डाला गया।
इसमें कहा गया है कि इन प्लेटफार्मों का उपयोग धन शोधन और आतंकवादी वित्तपोषण के लिए किया जाता है, जिससे राष्ट्रीय सुरक्षा जोखिम पैदा होता है।
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